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Hate APP Case: मास्टरमाइंड कही जा रही लड़की के बचाव में आई बहन, जानें कोटद्वार से गिरफ्तार तीसरा आरोपी कौन है?

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रुद्रपुर/देहरादून. बुली बाई एप विवाद में आरोपी के तौर पर उध​मसिंह नगर ज़िले से गिरफ्तार की गई श्वेता सिंह के बचाव में उसकी छोटी बहन सामने आई. मुंबई पुलिस ने श्वेता को गिरफ्तार कर विवादों में घिरे एप का मास्टरमाइंड बताया था, लेकिन उसकी नाबालिग बहन का कहना है कि श्वेता पर जब तक आरोप साबित न हो जाए, उसे अपराधी नहीं कहा जाना चाहिए. अपने परिवार और बहन के बारे में श्वेता की बहन ने न्यूज़18 से खास बातचीत की. इसके साथ ही इस केस में कोटद्वार से गिरफ्तार किए गए एक और आरोपी 21 वर्षीय स्टूडेंट के बारे में मिल रहे ब्योरों में कहा जा रहा है कि वह आर्मी के जवान का बेटा है.

प्रतिष्ठित मुस्लिम महिलाओं के खिलाफ कंटेंट परोसने वाले एप के मामले में कार्रवाई करते हुए पुलिस ने बीते मंगलवार को श्वेता को गिरफ्तार कर उसकी ट्रांज़िट रिमांड ली थी. इसके बाद से ही श्वेता को इस केस का मास्टरमाइंड बताया जा रहा है. न्यूज़18 संवाददाता चंदन बंगारी की रिपोर्ट के मुताबिक अब श्वेता की बहन ने कहा है कि उसकी बहन निर्दोष है क्योंकि वह कुछ ही दिन पहले बालिग हुई है और उसमें ज़्यादा समझ भी नहीं है. बहन ने यह भी कहा कि उनके परिवार का गुज़ारा सरकार और स्वर्गीय पिता की कंपनी की तरफ से मिल रहे कुछ पैसों से चलता है. माता पिता के निधन के बाद अभी वो दुख से उबरे भी नहीं थे कि ये एक और बड़ी घटना हो गई.

कौन है तीसरा आरोपी युवक?
मुंबई पुलिस ने उत्तराखंड से दूसरी और इस केस में तीसरी गिरफ्तारी पौड़ी ज़िले के कोटद्वार से करते हुए 21 साल के एक स्टूडेंट को गिरफ्तार किया, जिसका नाम मयंक रावत बताया गया है. कोटद्वार की एएसपी मनीषा जोशी के हवाले से खबरों में कहा गया कि मयंक दिल्ली के ज़ाकिर हुसैन कॉलेज में बीएससी का स्टूडेंट है. वह अपने गृहनगर आया हुआ था और राजेंद्र नगर कॉलोनी से उसे गिरफ्तार किया गया.

मयंक के पिता प्रदीप सिंह भारतीय आर्मी में हैं और जम्मू में उनकी पोस्टिंग है. जोशी ने यह भी कहा कि उन्हें पता चला है कि मयंक एक अच्छा स्टूडेंट है, जो अपनी पढ़ाई में काफी बेहतरीन प्रदर्शन कर रहा था. मयंक के दिल्ली निवासी एक टीचर के हवाले से खबरों में यह भी कहा गया कि मयंक केमिस्ट्री प्रोग्राम में बीएससी ऑनर्स के थर्ड इयर का स्टूडेंट है. इससे पहले, बेंगलूरु से 21 वर्षीय विशाल कुमार झा को इस केस में पकड़ा गया था, जो इंजीनिरिंग का स्टूडेंट है. झा के बयान से ही पुलिस श्वेता तक पहुंची थी.

श्वेता पर क्या कह रही है अब तक की जांच?
मुंबई पुलिस से जुड़े सूत्रों के हवाले से इंडियन एक्सप्रेस की रिपोर्ट में कहा गया है कि झा ने पुलिस को बताया था कि श्वेता ने यह एप बनाया था, लेकिन श्वेता की टेक्निकल योग्यता इस तरह की नहीं पाई गई है कि वो ऐसा कारनामा कर सके. पुलिस अब यह जांच भी कर रही है कि एप बनाने वालों में श्वेता की भूमिका है कि नहीं. झा ने बयान में यह भी कहा है कि वो वॉट्सएप और इंस्टाग्राम पर श्वेता के साथ संपर्क में था.

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Tags: Hate Crime, Mumbai police, Uttarakhand news

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