‘विकासभूमि’ बनने के लिए ये है उत्तराखंड का रोडमैप, जानिए क्या है मुरादाबाद-काशीपुर प्रोजेक्ट
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देहरादून. देवभूमि उत्तराखंड आने वाले सालों में न सिर्फ टूरिज्म गतिविधियों के हब बल्कि देश के अग्रणी राज्यों में हो, इसके लिए बेसिक इन्फ्रास्ट्रक्चर को तेज़ी के साथ धरातल पर उतारा जा रहा है. पिछले दिनों सुर्खियों में रहे दिल्ली से देहरादून तक बनने वाले एक्सप्रेस वे की बात हो या चार धाम को जोड़ने वाले मार्गों की या बॉर्डर सुरक्षा के लिए चर्चित ऑलवेदर रोड की या फिर पुलों और रोप वे के निर्माण की, उत्तराखंड में विकास की चौतरफा घोषणाएं भी हो रही हैं और शिलान्यास भी. हाल में पीएम मोदी ने उत्तराखंड को एक और सौगात के तौर पर मुरादाबाद से काशीपुर तक के हाईवे प्रोजेक्ट समेत हज़ारों करोड़ की परियोजनाओं का शिलान्यास किया.
प्रधानमंत्री मोदी ने अपने हालिया कुमाऊं दौरे के दौरान उत्तराखंड को हज़ारों करोड़ की लागत वाली सड़क परियोजनाओं की सौगात दी. एनएच-74 पर यूपी के नगीना से उत्तराखंड के काशीपुर तक 99 किमी सड़क के चौड़ीकरण कार्य का मोदी ने लोकार्पण किया. इससे कुमाऊं गढ़वाल के बीच कनेक्टिविटी में सुधार से इनकार नहीं किया जा सकता, तो औद्योगिक गतिविधियों में भी तेज़ी आने की संभावना है. कई बाईपास बन जाने और सड़क के फोर लेन में कन्वर्ट हो जाने से लोगों को जाम से भी निजात मिली है. इसी सिलसिले में मुरादाबाद काशीपुर रोड की चर्चा भी हो रही है.
न्यूज़18 इन्फोग्राफिक्स
Moradabad-Kashipur : कैसे बन रहा है तरक्की का रास्ता?
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने सोशल मीडिया पर उत्तराखंड के विकास की इबारत के तौर पर जिन खास योजनाओं का ज़िक्र किया, उनमें सबसे बड़ी मुरादाबाद काशीपुर फोर लेन परियोजना है, जो 4000 करोड़ की लागत से पूरी होगी. इस परियोजना को कुछ खास बिंदुओं में देखिए.
— मुरादाबाद और काशीपुर रोड पर 85 किलोमीटर लंबे बाईपास का शिलान्यास हुआ.
— इसके बनने से कुमाऊं और गढ़वाल के बीच कनेक्टिविटी मज़बूत होगी.
— कॉर्बेट पार्क जाने वालों का समय डेढ़ घंटे तक बचेगा.
पीएम ने जिन परियोजनाओं का शिलान्यास किया, उनमें 627 करोड़ की लागत वाले पीएमजीएसवाय के फेज़-2 के 133 मार्गों का निर्माण और 450 करोड़ की लागत से बनने वाले पीएमजीएसवाय के 151 मिसिंग पुल का प्रोजेक्ट भी शामिल है. 177 करोड़ से बनने वाले एनएच-109 डी के कार्य की भी नींव रखी गई. ये मार्ग नेपाल से लगे बॉर्डर तक यातायात को सुगम बनाएगा. इससे नेपाल के साथ कनेक्टिविटी बेहतर हेागी.
एक नज़र इन्फ्रास्ट्रक्चर पर
दिल्ली से देहरादून तक 175 किलोमीटर और हरिद्वार तक 51 किलोमीटर के एक्सप्रेस वे से दिल्ली से देहरादून व हरिद्वार की दूरी कई गुना कम हो जाएगी. पांच घंटे का दिल्ली का रास्ता ढाई घंटे रह जाएगा. एक्सप्रेस वे पर 12 किलोमीटर लंबा वन्यजीव एलिवेटेड कॉरिडोर एशिया का सबसे बड़ा ऐसा कॉरिडोर होगा. उत्तराखंड की इकोनॉमी में बूम लाने के प्रोजेक्ट के तौर पर इसे प्रचारित किया जा रहा है.
इसके अलावा, देहरादून में पांवठा साहिब से बल्लूपुर चौक तक 50 किमी का राष्ट्रीय राजमार्ग चौड़ीकरण कार्य भी शुरू हो चुका है. इसके तहत तीन बड़े, 43 छोटै पुल, एक फ्लाईओवर और 15 अंडरपास बनने हैं. यूपी के नजीबाबाद से कोटद्वार तक सड़क चौड़ीकरण कार्य का भी पीएम शिलान्यास करके गए हैं. चारधामों को जाने वाली सड़कों का चौड़ीकरण कार्य अपने अंतिम चरण में है. कर्णप्रयाग रेल परियोजना 2024 तक कंप्लीट होने का अनुमान है.
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Tags: Highway, Uttarakhand news
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